महिला सशक्तिकरण की दिशा में एक और नवाचार (कहानी सच्ची है)

 

महिला सशक्तिकरण की दिशा में एक और नवाचार (कहानी सच्ची है)
मनरेगा के काम की अब समूह की महिलाएं करेंगी निगरानी, जिले की 820 महिलाओं का किया गया मेट के लिए चयन, मस्टर संधारण, वर्क की प्रगति रोजाना करेंगी दर्ज
कटनी | 

महिलाओं को आत्मनिर्भर व सशक्त बनाने की दिशा में राज्य सरकार लगातार काम कर रही है। स्व सहायता समूहों के माध्यम से जहां महिलाओं को रोजगार से जोड़ा जा रहा है तो शासन के अन्य कार्यों में भी उनकी सहभागिता सुनिश्चित कराते हुए आत्मनिर्भर बनाने की दिशा में प्रयास किए जा रहे हैं। महिलाओं को सशक्त बनाने की दिशा में अब एक और प्रयास किया जा रहा है। जिले में होने वाले मनरेगा मद के कार्यों की देखरेख और श्रमिकों के मस्टर का संधारण करने का कार्य अब समूह की महिलाएं भी देखेंगी। इसके लिए जिला प्रशासन द्वारा बकायदा उनको प्रशिक्षित किया जा रहा है। जिले के कुल मेटों की प्रतिशत संख्या अब राज्य आजीविका मिशन अंतर्गत गठित स्व सहायता समूह की महिला सदस्यों की होगी।
            महात्मा गांधी नरेगा के कार्यों में अभी तक मस्टर का संधारण, ग्राम पंचायत में चल रहे कामों की प्रगति आदि दर्ज करने का कार्य अधिकांश स्थानों पर पुरूष ही करते थे। राज्य सरकार ने अब इस काम के लिए जिले में स्वीकृत कुल मेट में से 50 प्रतिशत मेट समूह की महिलाओं कोे बनाने का निर्णय लिया है ताकि महिलाएं सशक्त हो सकें। मेट के कार्य के लिए जिले में आजीविका मिशन द्वारा गठित किए समूहों की 820 सदस्यों का चयन मेट के लिए किया गया है और उनको एक दिवसीय प्रशिक्षण अधिकारियों द्वारा प्रदान किया जा रहा है। प्रशिक्षण के बाद महिलाएं अपनी-अपनी ग्राम पंचायत में चल रहे मनरेगा के कार्य में मेट के रूप में काम करेंगी और कितने मजदूर काम कर रहे हैं, इसके लिए मस्टर रोल का संधारण करेंगी। मनरेगा के तहत का कर रही एजेंसी और इंजीनियर का रोजाना समय पर कार्य स्थल पर पहुंचना भी मुश्किल होता है, ऐसे में महिलाएं प्रतिदिन इस बात को भी देखेंगी कि स्थल पर कितना कार्य हुआ, जिसकी जानकारी वे एजेंसी या इंजीनियर को दंेगी।
विकासखंडों की पंचायतों के आधार पर किया गया चयन
            जिले के छह विकासखंडों की ग्राम पंचायतों की संख्या के आधार पर महिला मेटों का चयन किया गया है। जिसमें बड़वारा विकासखंड की 66 ग्राम पंचायतों के लिए 132, बहोरीबंद की 79 पंचायतों से 156, ढीमरखेड़ा की 73 ग्राम पंचायतों में से 146, कटनी विकासखंड की 59 पंचायतों में से 118, रीठी की 56 ग्राम पंचायतों में 120 और विजयराघवगढ़ की 74 ग्राम पंचायतों में से 148 महिलाओं का चयन मेट के रूप में किया गया है।
विकासखंडवार किया जा रहा प्रशिक्षित
            जिले के छह विकासखंड के लिए सीईओ जिला पंचायत जगदीश चन्द्र गोमे ने प्रशिक्षण के लिये तिथिवार कार्यक्रम को लेकर जिले के सभी जनपद पंचायतों के मुख्य कार्यपालन अधिकारियों को निर्देश जारी किये हैं। जिसके तहत चयनित मेट का प्रशिक्षण प्रारंभ किया गया है। सोमवार को बड़वारा और बहोरीबंद विकासखण्डों में सोमवार को प्रशिक्षण का आयोजन हुआ। जिसमें बड़वारा विकासखण्ड अंतर्गत चयनित 132 महिला मेटों और बहोरीबंद विकासखण्ड में 156 चयनित मेटों का प्रशिक्षण दिया गया। इसी क्रम में ढीमरखेड़ा विकासखण्ड में 21 सितम्बर को प्रातः 11 बजे से दोपहर 1.30 बजे तक और कटनी विकासखण्ड में 21 सितम्बर को कटनी विकासखण्ड में दोपहर 2 बजे से दोपहर 4.30 बजे तक प्रशिक्षण आयोजित होगा। वहीं 22 सितम्बर को रीठी विकासखण्ड में प्रातः 11 बजे से दोपहर 1.30 बजे तक और विजयराघवगढ़ विकासखण्ड में दोपहर 2 बजे से 4.30 बजे तक चयनित महिला मेटों को प्रशिक्षित किया जायेगा।